Ganesh Aarti Lyrics गणेश आरती लिरिक्स
दोहा जय गणपति सदगुण सदन, कविवर बदन कृपाल।विघ्न हरण मंगल करण, जय जय गिरिजालाल॥ चौपाई जय जय जय गणपति गणराजू।मंगल भरण करण शुभः काजू॥ जै गजबदन सदन सुखदाता।विश्व विनायका बुद्धि विधाता॥ वक्र तुण्ड शुची शुण्ड सुहावना।तिलक त्रिपुण्ड भाल मन भावन॥ राजत मणि मुक्तन उर माला।स्वर्ण मुकुट शिर नयन विशाला॥ पुस्तक पाणि कुठार त्रिशूलं।मोदक भोग सुगन्धित … Read more